यशपाल शर्मा, लुधियाना
आईरियो वाटरफ्रंट प्रोजेक्ट में ज्वाइंट वेंचर करने वाली कंपनी एआईपीएल हाउसिंग एंड अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड कंपनी विवादों में आ गई है। यही कंपनी आईरियाे वॉटरफ्रंट प्रोजेक्ट की एआईपीएल ड्रीम सिटी लुधियाना के नाम से पब्लिसिटी कर रही है। ये पूरा विवाद इस कंपनी को ग्लाड़ा की ओर से जारी किए एक नोटिस के चलते पैदा हुआ है। इस नोटिस में ग्लाडा की और से साफ कह दिया गया है कि एआईपीएल नामक प्रोजेक्ट उनके पास रजिस्टर्ड ही नहीं है। जबकि एआईपीएल कंपनी आईरिया वाटर फ्रंट के प्लॉट बेचने से लेकर इसकी पब्लिसिटी का पूरा काम देख रही है। मौजूदा स्थिति ये है कि आईरियो वाटरफ्रंट अब केवल कागजों में रह गया है और इस पूरी कंपनी का काम एआईपीएल हाउसिंग की ओर से देखा जा रहा है। वहीं ग्लाड़ा के कागजों में अभी भी आईरियो वॉटरफ्रंट का ही नाम चल रहा है और इसी के चलते ग्लाड़ा ने भी एआईपीएल की ओर से साउथ सिटी में दैवतवाल, बीरमी, इस्सेवाल, गौहर व दाखा की करीब 497 एकड़ में बनी आईरियाे वॉटरफ्रंट में रिहायशी प्लाटों को बेचने के लिए लगाए होर्डिंग व अन्य विज्ञापन हटाने के लिए 48 घंटे का नोटिस जारी कर दिया है।
ग्लाडा के पास नहीं मंजूर एआईपीएल नाम का कोई प्रोजेक्ट
ग्लाडा की और से अपने नोटिस में बताया गया है कि उन्हें पता चला कि इरियो वाटरफ्रंट के आसपास व अन्य स्थानों पर एआईपीएल ड्रीम सिटी के नाम से इश्तेहार देकर प्रोजेक्ट की मशहूरी की जा रही है। जबकि एआईपीएल के नाम से कोई प्रोजेक्ट ग्लाडा के पास मंजूर नहीं हुआ है। न ही पंजाब सरकार की और से एआईपीएल को इरियो का प्रमोटर व को प्रमोटर बनाया गया है। जिसके चलते उन्हें नोटिस जारी हुआ है।
जानें क्यों खड़ी हुई विवाद की स्थिति
आईरियाे वॉटरफ्रंट प्राइवेट लिमिटेड साल 2005 में मैगा हाउसिंग पालिसी के तहत करीब 497 एकड़ में ये टाउनशिप लेकर आई थी। लेकिन तब ये कंपनी इस प्रोजेक्ट को बेचने में कामयाब नहीं हो पाई थी। जिसके चलते इस कंपनी का ग्लाड़ा व रेरा से मंजूर लाईसेंस तक पेमेंट अदायगी न होने के चलते खटाई में पड़ गया था। करीब चार साल पहले इस डूबते प्रोजेक्ट में एआईपीएल हाउसिंग एंड अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड कंपनी को प्रमोटर बनी और इस प्रोजेक्ट की जरनल पॉवर आटर्नी लेकर इसका पूरा कामकाज खुद टेकओवर कर लिया। जिसके बाद एआईपीएल ग्रुप ने ही इस कंपनी का पंजाब सरकार की मदद से विवाद सुलझाया और दोबारा से कंपनी के लाईसेंस बहाल करवाए। इसके बाद कंपनी 2021 से लगातार ग्लाड़ा के पास उक्त कंपनी का नाम बदलने की अर्जी लगा रही है, लेकिन इसके बावजूद इस प्रोजेक्ट का नाम नहीं बदला और अब इसी अड़चन के चलते कंपनी ने एआईपीएल को बिना मंजूरी इस प्रोजेक्ट की प्रमोशन को रोक दिया है, यानि की अब एआईपीएल को पहले इस प्रोजेक्ट का नाम बदलना होगा।
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वहीं इस बारे में लुधियाना में एआईपीएल ग्रुप का कामकाज देख रहे हेमंत गुप्ता से बात की गई तो उन्होंने बताया कि आईरियाे वॉटरफ्रंट की एआईपीएल के पास जीपीए है और कंपनी का पूरा कामकाज हमारी कंपनी संभाल रही है। हमारें पास इस प्रोजेक्ट के प्लॉट बेचने से लेकर तमाम तरह के अधिकार हैं। इस प्रोजेक्ट का नाम आईरियो वॉटरसिटी से बदल कर एआईपीएल ड्रीम सिटी लुधियाना रखने को आवेदन किया हुआ है, जिसे अभी मंजूरी नहीं मिली है। हमारी ओर से ग्लाड़ा को इस प्रक्रिया के लिए सभी शर्तों को पूरा करने का भरोसा भी दिलाया गया है।
Aipl-Dream-City-Ludhiana-Project-In-Controversy-After-Glada-Notice-Know-What-Is-The-Whole-Matter
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Yashpal Sharma (Editor)