जालंधर। जालंधर में बहुचर्चित करमा फैशन के बाहर 27 जनवरी को एक धमकी भरा पत्र मिलने के मामले में सिटी पुलिस की स्पेशल सेल टीम ने कुछ आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। जानकारी के अनुसार, पकड़े गए 8 गुर्गे लॉरेंस बिश्नोई के साथी हैं। बदमाश मोहल्ला न्यू गोपाल नगर, नीलामहल, न्यू दाना मंडी और शहीद बाबू लाभ सिंह नगर के रहने वाले हैं। JCP संदीप शर्मा ने कहा कि गैंगस्टरों की पहचान संजय बावा, दीपक कुमार उर्फ दीपक, राजिंद्र राजपुर उर्फ गज्जू, राधे, अभिषेक गिल, पप्पू, मनोज और दीपक कुमार के रूप में हुई है। सभी आरोपी जिला जालंधर के ही हैं। गैंगस्टरों को धोबी घाट नजदीक टीवी टावर से काबू किया गया है। आरोपियों से पुलिस को एक पिस्तौल 30 बोर, 5 कारतूस, एक पिस्तौल 32 बोर, 5 कारतूस, एक देसी पिस्तौल 315, 4 मैगजीन, एक स्पलेंडर बाइक और दो स्कूटर (एक्टिवा) बरामद हुए हैं। JCP संजदीप शर्मा ने कहा कि जांच के दौरान सामने आया कि गुर्गों के संबंध इंग्लैंड में रह रहे सूरज के साथ हैं। जबकि, गैंगस्टर सूरज के संबंध गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के साथ हैं।
गैंग का मुख्य सरगना है मनोज
गैंगस्टरों का मुख्य सरगना मनोज है। बदमाश लोगों से पैसे निकलवाने के लिए रंगदारी की कॉल और लेटर का भी इस्तेमाल करते हैं। बदमाशों ने अंतरराष्ट्रीय नंबरों से भी कॉल की है। जिनका रिकॉर्ड निकलवाया जा रहा है। इन बदमाशों का पिछला आपराधिक कोई रिकॉर्ड नहीं है। पुलिस को कुछ अकाउंट नंबर भी मिले हैं, जोकि संदिग्ध माने जा रहे हैं, जिन पर जांच जारी है। थाना-4 की पुलिस ने इस मामले में करमा फैशन के मालिक की शिकायत पर केस दर्ज किया था। तब से आरोपियों की तलाश जारी थी। बदमाशों ने करमा फैशन के बाहर धमकी भरा थ्रेट लेटर भी फेंका था।
लेटर पर लिखा था गैंगस्टरों का नाम
पुलिस को शोरूम मालिक ने बताया था कि लेटर में लिखा था कि ये रौंद तुम्हें बतौर गिफ्ट भेजा है। अगर, आप हमसे बात नहीं करोगे तो इसी रौंद से आपको नुकसान भी पहुंचा सकते हैं। लेटर में GB और LB लिखा हुआ था। लेटर उनके सिक्योरिटी गार्ड को मिला था। जिस एरिया में लेटर फेंका गया, उक्त एरिया में सीसीटीवी कवर नहीं करता। लेटर में दो नाम लिखे गए थे, जिसमें एक लॉरेंस बिश्नोई (LB) और दूसरा गोल्डी बराड़ (GB) है। लेटर हिंदी में लिखा गया था।
दिसंबर माह में आई थी थ्रेट कॉल
करमा फैशन के मालिक राघव ने तब पुलिस को बताया था कि उन्हें पिछले काफी समय से थ्रेट कॉल आ रहे थे। इसकी शुरुआत पिछले माह हुई थी। पीड़ित ने कहा कि पहले तो उन्होंने समझा कि कोई साइबर ठग परेशान कर रहा है। जिसके चलते उन्होंने शिकायत नहीं दी थी। राघव ने बताया कि जैसे जैसे उसे कॉल आता, वह उक्त नंबर ब्लॉक कर देता था।
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Yashpal Sharma (Editor)